April Fool Day: क्यों मनाया जाता है मूर्ख दिवस, जानिए - WE ARE ONE

Breaking

Home Top Ad

Responsive Ads Here

Friday, March 29, 2019

April Fool Day: क्यों मनाया जाता है मूर्ख दिवस, जानिए

आपको याद है ना बचपन के वह दिन जब हम लगभग हर रोज ही फूल डे मनाया करते थे। कभी पड़ोसी की डोर बेल बजाई और बस भाग खड़े हुए। रात को काले धागे से नोट बांधा और बीच सड़क पर रख दिया, जो भी कोई उसे उठाने लगता तो धीरे-धीरे खींच लेते अपनी तरफ और खिलखिला कर हंसने लगते। एक छोटे से डब्बे में रबर का नकली कॉकरोच डालते और गिफ्ट पैक करके रख देते थे किसी जानकार के दरवाजे पर, सच में बड़ा मजा आता था।
बचपन के उन सुनहरे दिनों में हम किसी को बेवकूफ बनाने के लिए 1 अप्रैल का तो इंतजार ही नहीं करते थे जिसे आजकल फूल डे, फूल्स डे या मूर्ख दिवस भी कहा जाता है। आपने कभी सोचा है कि 1 अप्रैल को फूल डे या मूर्ख दिवस क्यों मनाया जाता है? यदि आप जानना चाहते हैं तो लेख को अंत तक पढ़े। वैसे तो मूर्ख दिवस मनाने के पीछे कई किस्से और कहानियां जुड़ी हुई हैं। लेकिन 2 कहानियां सबसे ज्यादा प्रचलन में हैं, तो कौन सी है वह दो कहानियां आइए जानते हैं।
पहली कहानी- मान्यता है कि मूर्ख दिवस का सबसे पहला जिक्र 1392 में अंग्रेजी साहित्य के पिता कहे जाने वाले जॉफरी चॉसर की बुक कैंटरबरी टेल्स में देखने को मिलता है। यह एक ऐसा ग्रंथ है जिसमें 1 अप्रैल और मूर्खता के बीच संबंध को बताया गया था। जॉफरी चॉसर की बुक कैंटरबरी टेल्स कई कहानियों का एक संग्रह थी। उसमें से ही एक नंस प्रीस्ट्स टेल की कहानी के अनुसार इंग्लैंड के राजा रिचर्ड द्वितीय और बोहेमिया की रानी एनी के इंगेजमेंट की तारीख 30 मार्च घोषित कर दी गई थी। जिसे वहां की पब्लिक ने सत्य मान लिया और मूर्ख बन बैठे। इसी कहानी में एक अहंकारी, दुष्ट मुर्गे को चालाक लोमड़ी ने मूर्ख बनाया था और तभी से 32 मार्च यानी कि 1 अप्रैल को मूर्ख दिवस के रूप में मनाया जाता है।
दूसरी कहानी- दूसरी मान्यता के मुताबिक प्राचीन यूरोप में हर वर्ष नया साल 1 अप्रैल को मनाया जाता था लेकिन साल 1582 में पॉप ग्रेगोरी ने एक नए कैलेंडर की शुरुआत करते हुए जनता को निर्देश दिया कि अब से नया साल 1 जनवरी को मनाया जाएगा। जिससे यूरोप की अधिकतर जनता ने मान लिया, लेकिन कुछ लोग ऐसे भी थे जो अभी भी पुरानी परंपरा के अनुसार 1 अप्रैल को ही नए साल के रूप में मना रहे थे। तब उस समय में ऐसे लोगों का मजाक बनाया जाता था और उन्हें बेवकूफ कहा जाता था। ऐसी मान्यता है कि यूरोप में तभी से 1 अप्रैल को मूर्ख दिवस के रूप में मनाया जाता है।
हमारी अपील- दोस्तों किसी को मूर्ख बनाने के तरीके और वजह जो भी हो, लेकिन एक बात का ध्यान रखें मजाक तभी तक अच्छा लगता है जब तक उससे किसी का कोई अहित ना हो। इसलिए हमारी आपसे एक रिक्वेस्ट है कि इस 1 अप्रैल यानी फूल डे के दिन किसी के भी साथ ऐसा मजाक बिल्कुल न करें जिससे उसका कोई नुकसान हो।
ऐसी ही महत्वपूर्ण जानकारियों के लिए बने रहें हमारे साथ व इस बारे में आपको कुछ कहना है तो कमेंट के माध्यम से जरूर बताएं।

No comments:

Post a Comment

Comments System

Disqus Shortname