लड़ाकू विमान राफेल को लेकर देश की राजनीति इस वक्त बेहद गर्म है। इस डील को लेकर मोदी सरकार चौतरफा घिरी हुई है। जहां विपक्ष सरकार पर ताबड़तोड़ वार कर रहा है तो वहीं अपने ही सरकार को आंख दिखा रहे हैं। इन सबके बीच बजट सत्र खत्म होने से पहले अब सरकार ने इस पर CAG की रिपोर्ट संसद के दोनों सदनों में पेश कर दी। वित्त राज्य मंत्री पी राधाकृष्णन इस रिपोर्ट को पहले राज्यसभा में पेश किया लेकिन जब बाद में इसे लोकसभा में रखा गया तो कांग्रेस जमकर हंगामा किया। सदन में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे ने इस रिपोर्ट को मीडिया में लीक करने का आरोप लगाते हुए मामले की जेपीसी जांच कराने की मांग की और सदन से वॉकआउट कर दिया।
इससे पहले उन्होंने कहा की जिस समय मोदी सरकार ने 36 राफेल विमान की खरीद का सौदा किया था उस समय राजीव महर्षि देश के वित्त सचिव थे और अब वहीं CAG के पद पर हैं, ऐसे में वह सही रिपोर्ट नहीं दे सकते लिहाजा जेपीसी से मामले की जांच कराई जाए। लेकिन गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने कांग्रेस के आरोपों को खारिज कर दिया उन्होंने कहा की विपक्ष डील को लेकर बार-बार झूट न बोले इससे आरोप सच साबित नहीं हो जाएंगे। आपको बता दे कि जो रिपोर्ट मीडिया में सामने आयी है उसमे राफेल विमान की कीमत का जिक्र नहीं है बल्कि इसमें 11 रक्षा सौदों का हिसाब दिया गया है राफेल इसका हिस्सा मात्र है।
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